ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का बयान का बयान
केंद्र सरकार द्वारा वक्फ़ कानूनों में किए गए संशोधनों के खिलाफ देशव्यापी आंदोलन शुरू करने का ऐलान किया है। बोर्ड का कहना है कि यह संशोधन मुसलमानों की धार्मिक और सामाजिक संपत्तियों के अधिकारों को कमजोर करने की साजिश है।
All India Muslim Personal Law board ने कहा कि वक्फ़ संपत्तियों की देखरेख और प्रबंधन का अधिकार मुसलमानों के पास रहना चाहिए, न कि सरकार के अधीन होना चाहिए। ये संपत्तियां जैसे मस्जिदें, मदरसे, कब्रिस्तान आदि, धार्मिक और समाज सेवा से जुड़ी होती हैं।
इस सिलसिले में बोर्ड ने पूरे देश में जागरूकता फैलाने, जनसभाएं करने और कानूनी लड़ाई लड़ने का फैसला किया है। विभिन्न धर्मगुरु, सामाजिक कार्यकर्ता और मुस्लिम संगठनों को इसमें शामिल किया जाएगा।
All India Muslim Personal Law board का मानना है कि वक्फ़ कानूनों में प्रस्तावित बदलाव संविधान में दिए गए धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकारों के खिलाफ हैं। इसीलिए, इसे किसी भी सूरत में स्वीकार नहीं किया जा सकता।
इस आंदोलन के तहत:
- देशभर में वक्फ़ संपत्तियों की हकीकत और उनका महत्व बताया जाएगा।
- विरोध प्रदर्शन और जनसभाओं के जरिए सरकार तक आवाज़ पहुँचाई जाएगी।
- मुसलमानों से अपील की जाएगी कि वे शांति और संविधान के दायरे में रहकर इस आंदोलन में भाग लें।
All India Muslim Personal Law board ने कुरान की आयत का हवाला देते हुए कहा कि अल्लाह उन लोगों के साथ होता है जो न्याय और सच्चाई के साथ होते हैं।
बयान के अंत में यह भी कहा गया कि अगर आज हम Waqf amendment bill पर खामोश रहे तो कल हमारी धार्मिक संपत्तियों और अधिकारों पर बड़ा खतरा मंडरा सकता है। इसीलिए एकजुट होकर आवाज़ उठाना जरूरी है।
Waqf amendment bill को रोकने के लिए All India Muslim Personal Law board ने राष्ट्रपति से मिलने का समय माँगा है।
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